केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन
केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन की अध्यक्षता में आयोजित एक समारोह में काला मास्क और छाता लगाकर पहुंचे लोगों को प्रवेश नहीं दिया गया। यह घटना शनिवार को कालीकट विश्वविद्यालय में हुई। पुलिस ने काले मास्क और छाते वाले लोगों को बाहर से ही लौटा दिया।
प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक कुछ लोगों ने इसका विरोध किया तो ड्यूटी पर मौजूद पुलिसकर्मियों ने कहा कि वह सिर्फ सीएम कार्यालय के निर्देशों का पालन कर रहे हैं। आरोप है कि मुख्यमंत्री के आगमन से ठीक पहले काले कपड़े पहने तीन महिला और दो छात्रों को हिरासत में ले लिया गया।
प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा है कि कार्यक्रम स्थल से कुछ दूर काले कपड़े पहने युवा कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने नारेबाजी की। विरोधियों ने तंज किया है कि विजयन को काला रंग पसंद नहीं है। फिर भी वह काले रंग की कार में यात्रा करते हैं।
उल्लेखनीय है कि केरल के बजट में ईंधन उत्पादों पर 2 रुपये का उपकर लगाने के फैसले के बाद विजयन कांग्रेस के नेतृत्व वाले विपक्ष (यूडीएफ) के निशाने पर हैं। काले रंग की सियासत पर 20 फरवरी को विधानसभा में विपक्ष के नेता वीडी सतीशन ने मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन पर निशाना साधा था। उन्होंने आरोप लगाया था कि विजयन लोगों को काला मास्क पहनने या अंतिम संस्कार के लिए भी काले झंडे का इस्तेमाल नहीं करने देने की वजह से हंसी का पात्र बन गए हैं।
इससे पहले पिछले साल जून में केरल पुलिस ने मलप्पुरम और त्रिशूर जिलों में मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन की आशंका को देखते हुए लोगों के काला मास्क पहनने पर कथित रूप से रोक लगा दी थी। आरोप है कि कोच्चि में मेट्रो स्टेशन पर काले कपड़े और काले मुखौटे पहनकर पहुंचे दो किन्नरों को पुलिस 'जबरदस्ती' उठा ले गई थी।