लेह में प्रदर्शनकारियों ने BJP ऑफिस में लगाई आग, वांगचुक ने तोड़ा अनशन
लद्दाख को पूर्ण राज्य का दर्जा दिए जाने और छठी अनुसूची में शामिल किए जाने की मांग को लेकर चल रहा आंदोलन बुधवार को हिंसक हो गया। लेह में नेपाल की तरह युवाओं ने जमकर पथराव-तोड़फोड़ और आगजनी की। कुछ प्रदर्शनकारियों ने गुस्से में बीजेपी दफ्तर में आग लगा दी। इस दौरान जब प्रदर्शनकारियों की पुलिस से झड़प हुई तो इसमें 4 लोगों की मौत और करीब 70 से ज्यादा लोगों के घायल होने की बात सामने आ रही है।
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे और लाठीचार्ज किया। कुछ वीडियो में कई वाहन जलते हुए दिख रहे हैं और कुछ झड़पें भी हुई हैं।
इसी बीच प्रसिद्ध जलवायु कार्यकर्ता सोनम वांगचुक ने 15 दिन बाद अपना उपवास तोड़ते हुए युवाओं से शांति बनाए रखने की अपील की है। उन्होंने साफ कहा कि किसी भी प्रकार की आगजनी या झड़प से आंदोलन की नैतिकता कमजोर होगी। उन्होंने कहा, “मैं युवाओं से अपील करता हूं कि आगजनी और झड़पों को बंद करें. हम अपना उपवास खत्म कर रहे हैं और प्रशासन से भी आग्रह है कि आंसू गैस के गोले चलाना बंद करे। कोई भी भूख हड़ताल तब तक सफल नहीं होती जब तक किसी की जान संघर्ष में जाती है।”
वहीं हिंसा के लिए सोनम वांगचुक निशाने पर आ गए। बुधवार को लेह में छात्रों और पुलिस के बीच झड़प हुई। इसमें बीजेपी ऑफिस और CRPF की गाड़ी में आग लगाई गई। इसके बाद हुई भिंड़त में चार लोगों की मौत हो गई। ऐसे में उनकी भूख हड़ताल तुलना नेपाल के Gen Z प्रोटेस्ट से की जा रही है।